उत्तराखण्ड l उत्तराखण्ड वन विकास निगम कर्मचारी संघ की बैठक लालकुआँ डिपो नम्बर 4 में आयोजित की गई जिसमें सेवारत, सेवानिवृत्त एवं वाहय सेवा श्रोत से सेवा कर रहे कर्मचारियों की समस्याओं के निराकरण पर विचार-विमर्श किया गया। बैठक में वन विकास निगम के प्रबन्ध तंत्र पर कर्मचारियों की समस्याओं के निराकरण न किये जाने का आरोप लगाया।

बैठक में उपस्थित सेवारत, सेवानिवृत्त एंव वाह्य सेवा स्रोत पर लगे कर्मियों में आकोश व्याप्त होता जा रहा है। प्रान्तीय अध्यक्ष टी एस बिष्ट ने कहा कि गोडा वर्मन बनाम भारत सरकार के आदेशों का अनुपालन न किया जाना व वन विकास निगम के अहित में होना बताया। किन्तु वन विकास निगम प्रबन्धन तंत्र वन विकास निगम के कार्यों को पूंजीपतियों के हाथों सौपना चाह रहा है, जिससे उत्तराखण्ड के बेरोजगारों के लिए व उत्तराखण्ड के पर्यावरण की सुरक्षा पर खतरा मंडरा सकता है।

उच्चाधिकारियों को गुमराह करने वालों को बेनकाब किया जायेगा। इस दौरान कुमाऊँ क्षेत्रीय अध्यक्ष मोहन सिंह मेहरा ने कहा कि 12 फरवरी 2025 को माननीय उच्च न्यायालय नैनीताल से वन विकास निगम कर्मचारियों के हित में जो निर्णय हुआ है, यदि वन विकास निगम प्रबन्ध तंत्र न्यायालय के निर्णयनुसार कर्मचारियों के देयकों का भुगतान यथासमय नही करता है और वाह्य स्रोत, उपनल के माध्यम से कार्य कर रहे साथियों की समस्याओं का निराकरण नही होता है तो वन निगम कर्मचारी संघ शीघ्र ही आन्दोलन करने को विवश होगा।