छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा राज्य के श्रमिक वर्ग को दीवाली से पहले आर्थिक राहत और प्रोत्साहन देने से जुड़ा है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की पहल पर यह कदम श्रमिक कल्याण और सामाजिक सुरक्षा के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण पहल माना जा रहा है।
आइए इस खबर को विस्तार से समझते हैं —
🔶 मुख्य जानकारी एक नजर में
- तारीख: 16 अक्टूबर 2025
- स्थान: रायपुर
- कुल राशि: ₹16 करोड़
- लाभार्थी: 64,195 पंजीकृत श्रमिक
- योजना क्रियान्वयन: छत्तीसगढ़ भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार कल्याण मंडल (CGB&OCWWB)
- प्रक्रिया: डीबीटी (Direct Benefit Transfer) के माध्यम से सीधा खातों में अंतरित
- मुख्य भूमिका:
- पहल – मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय
- मार्गदर्शन – श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन
- क्रियान्वयन – मंडल अध्यक्ष डॉ. रामप्रताप सिंह

🔶 क्या है यह पहल?
दीवाली से पहले सरकार ने राज्य के भवन एवं सन्निर्माण (Construction) क्षेत्र में कार्यरत पंजीकृत श्रमिकों के लिए यह आर्थिक सौगात जारी की है।
यह राशि 18 अलग-अलग कल्याणकारी योजनाओं के अंतर्गत दी गई है, जिनमें शामिल हैं:
- शिक्षा सहायता योजना
- प्रसूति सहायता योजना
- पेंशन योजना
- उपकरण वितरण योजना
- चिकित्सा सहायता
- मृत्यु एवं दुर्घटना सहायता
- आवास निर्माण सहायता
- स्वाभिमान योजना
आदि।
🔶 डीबीटी के माध्यम से पारदर्शी वितरण
राशि का वितरण Direct Benefit Transfer (DBT) के जरिए सीधे श्रमिकों के बैंक खातों में किया गया है।
इससे:
- बिचौलियों और भ्रष्टाचार की संभावना समाप्त होती है,
- लाभार्थियों को सीधे और शीघ्र आर्थिक सहायता मिलती है।
मंडल अध्यक्ष डॉ. रामप्रताप सिंह ने बताया कि सभी लाभार्थियों के खातों की आधार-लिंक्ड सत्यापन प्रक्रिया के बाद ही भुगतान किया गया है।
🔶 मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की प्राथमिकता
मुख्यमंत्री ने कहा है कि —
“राज्य के श्रमिक समाज छत्तीसगढ़ की रीढ़ हैं।
उनकी मेहनत से ही विकास की इमारत खड़ी होती है।
उन्हें आर्थिक सुरक्षा और सम्मान देना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है।”
यह पहल सरकार की श्रमिक-हितैषी नीति और “समाज के अंतिम व्यक्ति तक लाभ पहुंचाने” की प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
🔶 श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन का मार्गदर्शन
श्रम मंत्री ने इस अवसर पर कहा कि—
“भवन एवं अन्य सन्निर्माण कर्मकार मंडल की योजनाएँ अब अधिक सरल और सुलभ बनाई जा रही हैं।
मंडल का उद्देश्य है कि कोई भी श्रमिक सहायता से वंचित न रहे।”
उन्होंने यह भी बताया कि आने वाले समय में नए पंजीकृत श्रमिकों को शामिल कर लाभार्थियों की संख्या बढ़ाई जाएगी।
🔶 संभावित लाभ और प्रभाव
- दीवाली से पहले आर्थिक राहत: श्रमिकों को त्योहारी समय में अतिरिक्त सहायता मिली है।
- आर्थिक सशक्तिकरण: यह सहायता राशि छोटे स्तर पर लेकिन स्थायी रूप से श्रमिकों की क्रय-शक्ति बढ़ाएगी।
- सामाजिक सुरक्षा कवच: योजनाओं के माध्यम से दुर्घटना, बीमारी और आपदा की स्थिति में भी सुरक्षा सुनिश्चित होगी।
- राज्य सरकार की विश्वसनीयता में वृद्धि: कल्याणकारी योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन से सरकार की “प्रो-लेबर” छवि मजबूत होगी।
🔶 सांख्यिकीय विवरण
| विवरण | आँकड़े |
|---|---|
| कुल लाभार्थी | 64,195 श्रमिक |
| कुल राशि | ₹15,99,14,559 (लगभग ₹16 करोड़) |
| योजनाओं की संख्या | 18 |
| भुगतान माध्यम | डीबीटी (Direct Benefit Transfer) |
🔶 संक्षेप में
छत्तीसगढ़ सरकार की यह पहल राज्य के श्रमिकों के लिए “दिवाली का तोहफा” है।
यह सिर्फ आर्थिक सहायता नहीं, बल्कि श्रमिकों के परिश्रम के प्रति सम्मान और सुरक्षा की गारंटी भी है।
इस कदम से सरकार का “श्रमिक से विकास तक” का विज़न और अधिक मजबूत हुआ है।
